हम को यही काफी है, सरकार हमारे है
रख लेना भरम मेरा, महासर मैं मेरे आक़ा
कुछ भी है मेरे आक़ा नौकर तो तुम्हारे हैं !
लोगो को को तो दुनिया मैं लाखो सहारे है
हम को यही काफी है, सरकार हमारे है
पंजतन के घराने का जब से मैं हुआ नौकर
उस वक़्त से फिर अपने वारे ही नियारे है
लोगो को को तो दुनिया मैं लाखो सहारे है
हम को यही काफी है, सरकार हमारे है
क़ुर्बान तेरी शान पर हसनैन के नाना
सद्क़ा तेरे ना'लेंन का मेरे भी गुज़ारे है
लोगो को को तो दुनिया मैं लाखो सहारे है
हम को यही काफी है, सरकार हमारे है
उन पर है 'अया'ऐब मेरे बस एक तस्सली है
सरकार हमारे है बस सरकार हमारे है
लोगो को को तो दुनिया मैं लाखो सहारे है
हम को यही काफी है, सरकार हमारे है
रहते है सदा नूर की मानिंद मेरे दिल मैं
वो दिन जो जिया ! मैंने तय्यबा मैं गुज़ारे है
नात-ख़्वाँ:-
आज़म क़ादरी
सहबाज़ कमर फरीदी
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logo ko to duniya main laakho hi sahare hai
hum ko yahi qaafi hai, sarkar hamare hai
rakh lena bhram mera, mehsar main mere aaqa
kuch bhi hai mere aaqa noukar to tumhare hai !
logo ko to duniya main laakho hi sahare hai
hum ko yahi qaafi hai, sarkar hamare hai
panjtan ke garane ka jab main hua noukar
us waqt se hi apne waare hi niyaare hai
logo ko to duniya main laakho hi sahare hai
hum ko yahi qaafi hai, sarkar hamare hai
qurban teri shan pr hasnain ke nana
sadqa tere na"len ka mere bhi guzare hai
logo ko to duniya main laakho hi sahare hai
hum ko yahi qaafi hai, sarkar hamare hai
un par hai 'Aya'Aeb mere bas ek tassli hai
sarkar hamare hai bas sarkar hamare hai
logo ko to duniya main laakho hi sahare hai
hum ko yahi qaafi hai, sarkar hamare hai
rehte hai sda noor ki manid mere dil main
wo din jo jiya ! maine tayyba main guzare hai
Naat-Khwaan:-
Aazam qadri
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